
Parhiya Tribe
परहिया जनजाति ,Parhiya Tribe , parhiya janjati
पहाड़िया जनजाति का परिचय ( Introduction to the Paharia tribe )
परहिया झारखंड की एक लघु आदिम जनजाति है।प्रजातीय दृष्टि से परहिया को प्रोटो-आस्त्रोल्यड समूह में रखा जाता है। यह झारखण्ड की एक महत्वपूर्ण लघु आदिम जनजाति है।
पहाड़िया जनजाति की जनगणना (Census of Paharia Tribe)
भारत सरकार की जनगणना 2011 के अनुसार पहाड़िया जनजाति की जनसंख्या 25585 है, जो राज्य की जनसंख्या का 0.03 प्रतिशत है। यह मुख्य रूप से लातेहार, पलामू, गढ़वा एवं हजारीबाग के जिलों में निवास करते हैं।
पहाड़िया जनजाति की महत्वपूर्ण विशेषता (Important feature of Paharia tribe)
परहिया जनजाति की आर्थिक स्थिति बहुत दयनीय है, इनके झोपड़ीनुमा घर को झाला कहा जाता है।
बिरहिया जनजाति की तरह पहाड़ियों में स्थानांतरित कृषि ( बियोड़ा या झूम ) करते थ। इनके यहाँ परिवार की गिनती ” कुराला ” ( चूल्हे) से होती है ।
परहिया जनजाति मे वयवहारिक स्तर पर गोत्र व्यवस्था नहीं है। लेकिन नातेदारी की व्यवस्था है जो ” पारी ” मे विभाजित है ।नातेदारी दो भागों में विभाजित है ;-“धैयनिया और सनाही “। धैयनिया का सम्बंध जन्म से जुड़ा होता है और इसके सदस्य ” कुल कुटुम्ब ” कहलाते हैं । सनाही का सम्बंध शादी के द्वारा बनता है और इसके सदस्य हित-कुटुम्ब कहलाते हैं, इसमे वधु -मूल्य प्रथा जिसे ” डाली ” कहा जाता है ।